Haryana News: राव इंद्रजीत को सीएम नहीं बनने का मलाल, दक्षिण हरियाणा बेल्ट पर सियासी पकड़

RAO INDERJIT SINGH
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Haryana News: राव इंद्रजीत सिंह को सियासत अपने पिता पूर्व सीएम राव बीरेंद्र सिंह से विरासत में मिली है। 2014 में कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में आए हैं। दक्षिण हरियाणा बेल्ट पर सियासी पकड़ होने के बावजूद हरियाणा में सीएम नही बनने का राव को काफी मलाल है।

 

राव इंद्रजीत सिंह अहीरवाल के रूप में मशहूर दक्षिण हरियाणा के कद्दावर नेता हैं। इस टिकटो के वितरण को लेकर राव इ्ंद्रजीत को काफी मश्क्कत करनी पडी। हालाकि हाईकमान उनकी बात मानते हुए अहीरवाल बेल्ट की 11 में से 7 सीटों पर अपने समर्थकों की टिकट दिलाने में कामयाब हो गए है। अब इस सीटों पर जीताना भी बडी चुनौती है।Haryana News

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हरियाणा में 5 अक्टूबर को विधानसभा के चुनाव है। हर पार्टी अपने अपने प्रचार में लगी हुई है। कंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत ने शुक्रवार को कार्यकर्ताओ की बैठक ली। राव साहव ने कहा कि उन्होंने कहा 2014 व 2019 वाला समय नहीं है।Haryana News
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उस समय मोदी लहर के चलते हरियाण में स्थिति काफी मजबूत थी। लेकिन इस बार हालात बदल चुके है। लोकसभा में भाजपा को उम्मीद से कम मत मिले है। इतनी मजबूत ​स्थिति के बावजूद लोकसभा को केवल 5 सीटे ही मिल पाई है।

 

केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह ने सोमवार को बीजेपी प्रत्याशी लक्ष्मण सिंह के नामांकन के दौरान कहा कि हरियाणा की कुर्सी का रास्ता दक्षिण हरियाणा से होकर गुजरता है। सीएम बनने के सवाल पर इंद्रजीत ने कहा कि यह उनकी इच्छा नहीं है बल्कि जनता की इच्छा है। अब देखना है अहीरवाल से कितने सीट उनकी झोली में आती है।

जनता आज भी चाहती है कि वह सीएम बनें। उन्होंने कहा कि अगर यहां (दक्षिण हरियाणा) की जनता ने बीजेपी का कभी साथ न दिया होता, तो मनोहर लाल खट्टर दो बार सीएम नहीं बन पाते।

बीजेपी नेतृत्व ने टिकट बंटवारे में इंद्रजीत सिंह की पसंद-नापसंद पर पूरा फोक्स किया गया है। इसके अलावा हरियाणा में बची हुई 20 से ज्यादा सीटों में भी कुछ ऐसी हैं, जिन पर वो अपने करीबी नेताओं को उम्मीदवार बनाने में सफल हुए है। लेकिन सबसे अहम बात यह है दक्षिण हरियाणा बेल्ट पर सियासी पकड़ होने के बावजूद इंद्रजीत सिंह सीएम नही बन पाए।

बता दे राव इंद्रजीत सिंह को अटेली से उनकी बेटी आरती राव, नारनौल से ओमप्रकाश यादव, कोसली से अनिल डहीना, बावल से डॉ. कृष्ण कुमार और पटौदी से बिमला चौधरी को टिकट दी गई हैं। इसी तरह रेवाड़ी में राव इंद्रजीत सिंह की पसंद से लक्ष्मण सिंह यादव और गुरुग्राम में मुकेश शर्मा को चुनावी मैदान में उतारा गया है।